किसको है पता
कफ़न की बारिश हुई है
अत्याचार की सिफारिश हुई है
गुनहगार कौन है किसको है पता
सज़ा भुगत रहा है कौन
किसकी है खता
आज के दौर में सभी हैं परेशान
क्योंकि सभी हैं सत्य से अनजान
वो कोई अनोखा ही है जो इस जलते हुए
शमशान में भी
रहता है शांत
काम - नाम कोई भी हो
पर विचारों से होता सूजान
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